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Chandra Grahan 2025 : तीन साल बाद फिर दिखेगा ब्लड मून, जानिए कब और कहां होगा अद्भुत नज़ारा, जानें भारत में दिखेगा या नहीं

Chandra Grahan 2025 : तीन साल बाद फिर दिखेगा ब्लड मून, जानिए कब और कहां होगा अद्भुत नज़ारा, जानें भारत में दिखेगा या नहीं

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मार्च 2025 में एक दुर्लभ खगोलीय घटना होने जा रही है – पूर्ण Chandra Grahan, जिसे “ब्लड मून” भी कहा जाता है। यह खास इसलिए है क्योंकि लगभग तीन साल बाद दुनिया के कई हिस्सों में लोग इसे देख पाएंगे। पिछला पूर्ण चंद्रग्रहण 8 नवंबर 2022 को हुआ था, और अब 13-14 मार्च 2025 की रात को यह नज़ारा फिर से देखने को मिलेगा।

इस दौरान चंद्रमा गहरे लाल रंग में बदल जाएगा, जिसे बिना किसी विशेष उपकरण के देखा जा सकता है, बशर्ते आसमान साफ हो। हालांकि, भारत में यह दृश्य नहीं दिखेगा, क्योंकि उस समय यहां दिन होगा। आइए जानते हैं इस अद्भुत खगोलीय घटना के बारे में विस्तार से।

पूर्ण Chandra Grahan क्या होता है?

जब सूर्य, पृथ्वी और चंद्रमा एक सीधी रेखा में आते हैं, और पृथ्वी की छाया पूरी तरह से चंद्रमा को ढक लेती है, तब पूर्ण चंद्रग्रहण होता है। इस दौरान सूर्य की सीधी रोशनी चंद्रमा तक नहीं पहुंचती, बल्कि पृथ्वी के वायुमंडल से होकर अपवर्तित (refracted) होकर आने वाली लालिमा उसे रोशन करती है।

इससे चंद्रमा लाल या तांबे के रंग में दिखाई देता है, जिसे ब्लड मून कहा जाता है। यह पूरी तरह से प्राकृतिक घटना है और इसका कोई नकारात्मक प्रभाव नहीं होता।

ब्लड मून क्यों दिखाई देता है?

चंद्रमा का रंग बदलकर लाल या नारंगी दिखने का मुख्य कारण पृथ्वी का वायुमंडल है। जब सूर्य की किरणें पृथ्वी के वातावरण से होकर गुजरती हैं, तो नीली और बैंगनी रोशनी बिखर जाती है, जबकि लाल और नारंगी प्रकाश चंद्रमा तक पहुंचता है।

इसे “रैले स्कैटरिंग” (Rayleigh Scattering) कहा जाता है, जो वही प्रक्रिया है जिससे सूर्यास्त और सूर्योदय के समय आकाश लाल दिखाई देता है। चंद्रग्रहण के दौरान यही प्रभाव चंद्रमा पर भी पड़ता है, जिससे वह गहरा लाल या तांबे के रंग में दिखता है।

Chandra Grahan 2025: कब और कहां दिखाई देगा?

  • तारीख: 13-14 मार्च 2025 की रात
  • समय: ग्रहण की कुल अवधि लगभग 5 घंटे होगी, जिसमें से 65 मिनट पूर्ण ग्रहण रहेगा।
  • दृश्यता: यह चंद्रग्रहण उत्तर और दक्षिण अमेरिका, यूरोप, अफ्रीका के पश्चिमी हिस्सों और प्रशांत महासागर के कुछ हिस्सों में दिखाई देगा।
  • भारत में दृश्यता: भारत में यह ग्रहण नहीं दिखेगा, क्योंकि उस समय यहां दिन होगा।

पूर्ण  Chandra Grahan के चरण (Phases of Lunar Eclipse)

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  1. उपछाया चंद्रग्रहण (Penumbral Eclipse) – चंद्रमा पृथ्वी की बाहरी छाया (penumbra) में प्रवेश करता है, जिससे उसका प्रकाश थोड़ा फीका पड़ जाता है।
  2. आंशिक चंद्रग्रहण (Partial Eclipse) – चंद्रमा का कुछ भाग पृथ्वी की पूर्ण छाया (umbra) में प्रवेश करता है, जिससे उसका रंग बदलने लगता है।
  3. पूर्ण चंद्रग्रहण (Total Eclipse) – चंद्रमा पूरी तरह से पृथ्वी की छाया में आ जाता है और गहरा लाल हो जाता है, जिसे ब्लड मून कहते हैं।
  4. आंशिक ग्रहण समाप्त (Partial Eclipse Ends) – चंद्रमा धीरे-धीरे पृथ्वी की छाया से बाहर आने लगता है।
  5. उपछाया ग्रहण समाप्त (Penumbral Eclipse Ends) – चंद्रमा पूर्ण रूप से पृथ्वी की छाया से बाहर आ जाता है और सामान्य रूप से चमकने लगता है।

क्या Chandra Grahan के दौरान विशेष सावधानियां बरतनी चाहिए?

नहीं। चंद्रग्रहण पूरी तरह से सुरक्षित है और इसे बिना किसी विशेष सुरक्षा उपकरण के देखा जा सकता है। हालांकि, टेलीस्कोप या दूरबीन से इसे और अधिक स्पष्टता से देखा जा सकता है। कुछ धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, चंद्रग्रहण के दौरान विशेष अनुष्ठान, मंत्र जाप और स्नान करने की परंपरा है, लेकिन यह पूरी तरह व्यक्तिगत विश्वास पर निर्भर करता है।

Chandra Grahan और पौराणिक मान्यताएँ

  • हिंदू पौराणिक कथा: चंद्रग्रहण को समुद्र मंथन से जोड़ा जाता है। कथा के अनुसार, राहु नामक असुर ने अमृत पी लिया था, लेकिन भगवान विष्णु ने उसका सिर काट दिया। तभी से माना जाता है कि राहु सूर्य और चंद्रमा को ग्रसता है, जिससे ग्रहण होता है।
  • धार्मिक अनुष्ठान: कई लोग चंद्रग्रहण के दौरान मंदिरों के द्वार बंद कर देते हैं और स्नान एवं दान का विशेष महत्व मानते हैं।

वैज्ञानिक दृष्टिकोण से चंद्रग्रहण का महत्व

  • चंद्रमा का तापमान परिवर्तन: वैज्ञानिक ग्रहण के दौरान चंद्रमा की सतह के तापमान में बदलाव को मापते हैं।
  • वायुमंडलीय अध्ययन: सूर्य की किरणें पृथ्वी के वायुमंडल से होकर चंद्रमा पर पड़ती हैं, जिससे वैज्ञानिक पृथ्वी के वायुमंडल का अध्ययन करते हैं।
  • आकाशीय पिंडों का निरीक्षण: इस दौरान वैज्ञानिक अन्य ग्रहों और आकाशीय पिंडों का अध्ययन करने के लिए टेलीस्कोप का उपयोग करते हैं।

पूर्ण Chandra Grahan 2025 से जुड़े रोचक तथ्य

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  • यह तीन साल बाद हो रहा है।
  • इसे देखने के लिए कोई विशेष उपकरण की जरूरत नहीं होगी।
  • ग्रहण 5 घंटे तक रहेगा, लेकिन पूर्ण ग्रहण 65 मिनट का होगा।
  • भारत में यह नहीं दिखेगा, लेकिन लाइव स्ट्रीमिंग के जरिए इसे देखा जा सकता है।
  • चंद्रमा का रंग हल्के भूरे से गहरे लाल तक बदल सकता है।
  • अमेरिका, यूरोप और अफ्रीका के कुछ हिस्सों में लोग इसे देख पाएंगे।
मार्च 2025 का Chandra Grahan खगोल प्रेमियों के लिए एक दुर्लभ अवसर होगा। ब्लड मून का यह नज़ारा वैज्ञानिकों के लिए भी खास रहेगा। भारत में यह ग्रहण नहीं दिखेगा, लेकिन ऑनलाइन लाइव स्ट्रीमिंग के माध्यम से इसे देखा जा सकता है।
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https://khabarhartaraf.com/ramadan-2025-first-roja-date/

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https://www.jagran.com/news/national-blood-moon-2025-know-what-is-blood-moon-when-and-where-and-how-to-see-it-23889829.html

https://youtu.be/7tJ4es1x5i4?si=_HXFEDqclLzHv_bO

 

 

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